- दहेज उत्पीड़न के आरोप: क्या पुलिस ने की लापरवाही?
- पति और ससुराल वालों पर गंभीर आरोप
- मौत से पहले मिले थे ये संकेत
कटनी। मध्य प्रदेश के कटनी की रहने वाली 27 वर्षीय पर्णिका जैन की दिल्ली के वसंत कुंज इलाके में रहस्यमय परिस्थितियों में मौत हो गई। जहां पति और ससुराल पक्ष इसे आत्महत्या बता रहे हैं, वहीं पर्णिका के पिता अजय कुमार जैन ने इसे दहेज हत्या बताते हुए पुलिस से न्याय की गुहार लगाई है।
शादी के बाद शुरू हुई प्रताड़ना
पर्णिका जैन की शादी फरवरी 2024 में डॉ. आयुष भदौरा से हुई थी, जो दिल्ली के एक सरकारी अस्पताल में डॉक्टर हैं। शादी के बाद पर्णिका नौकरी करने लगी थीं और घर का खर्च भी वही उठा रही थीं। पिता अजय जैन के मुताबिक, हाल ही में उन्होंने दामाद के लिए एसी और वॉशिंग मशीन भी खरीदकर दी थी।
मौत से पहले पिता को दिया था डिस्ट्रेस कॉल
पर्णिका के पिता ने बताया कि उनकी बेटी उन्हें कभी खुलकर कुछ नहीं बताती थी, लेकिन 27 तारीख को उसने फोन कर बताया कि उसकी पति और ससुराल वालों ने जमकर पिटाई की है। पर्णिका ने कहा था, “पापा बहुत मारा है, लगता है मार ही देंगे।” जब अजय जैन ने दामाद से बात करनी चाही, तो पर्णिका ने डरते हुए फोन काट दिया।
अगले दिन परिवार को पर्णिका के फांसी लगाने की खबर मिली। परिवार का आरोप है कि मौत की सूचना देर से दी गई और पुलिस ने उनकी शिकायत को गंभीरता से नहीं लिया।
परिवार का पुलिस पर आरोप
परिवार के अनुसार, पुलिस ने उनकी बात सुने बिना ही मामले को आत्महत्या बता दिया और एफआईआर दर्ज नहीं की। उनका आरोप है कि पुलिस ने कई अहम सबूतों को नजरअंदाज कर दिया। अजय जैन ने कहा, “मेरी बेटी की हत्या हुई है, लेकिन पुलिस निष्क्रिय है। हमें न्याय चाहिए।”
न्यायिक जांच की मांग
जैन परिवार ने इस मामले की न्यायिक जांच की मांग की है और सरकार से निष्पक्ष कार्रवाई की अपील की है। पर्णिका की मौत ने न सिर्फ परिवार को तोड़ दिया है, बल्कि दहेज और महिला सुरक्षा के मुद्दे को एक बार फिर चर्चा में ला दिया है।
अब सवाल यह है कि क्या पर्णिका जैन को न्याय मिल पाएगा?
पुलिस अभी तक इस मामले में कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं कर पाई है।








